नानपुर के झोलाछापों का~~

मामला नानपुर के झोले छापों का


वो 18 और फिर जिम्मेदारों की लंबी चुप्पी पर जिम्मेदार बोले छोड़ो कल की बाते,कल की बात पुरानी,
आलीराजपुर~~~वह 18(फर्जी चिकित्सा व्यवसाय) थे और मरीजो के स्वास्थ के साथ खिलवाड़ कर रहे थे। उनके पास न तो शासन से मान्यता की वेध डिग्री थी, और ना ही उन्हें एलोपैथिक दवाई से मरीजों का उपचार करने का अधिकार था, उसके बावजूद वह 18 कई सालों से नानपुर क्षेत्र के मरीजों के स्वास्थ के साथ खिलवाड़ कर रहे हैं।
दरअसल ये 18 स्वास्थ  केंद्रों के नाम पर फर्जी  चिकित्सा व्यवसाय करने वाले झोला छाप हे जिनके खिलाफ स्थानीय स्वास्थ अमले की टीम ने मौके पर पहुंच कर बड़ी मात्रा में एलोपैथी दवाई के साथ अन्य सामग्री जप्त की थी।
इनकी अनियमितता को लेकर  नानपुर स्वास्थ केंद्र में पदस्त डॉक्टर ने थाने में एक पत्र दे कर इनके खिलाफ प्रकरण पंजीबद्ध करने को कहा था। 
क्या हे मामला~~नानपुर कस्बे में जागरूक युवा के द्वारा इन फर्जी चिकित्सा व्यवसाय करने वालों के खिलाफ शिकायत कर उनके खिलाफ कार्रवाई करने की मांग के बाद  स्वास्थ्य अमले ने 18 फर्जी चिकित्सा व्यवसाय करने वालों के मकान पर पहुंचकर उनसे व्यवसाय करने संबंधी शासन का मान्यता पत्र के साथ आवश्यक दस्तावेज मांगे थे, लेकिन सभी 18  चिकित्सा व्यवसाययों के पास   व्यवसाय करने के किसी भी तरह के आवश्यक  दस्तावेज नहीं होने के साथ ही अमले ने उनके ठिकानों से बड़ी मात्रा में प्रतिबंधित दवाइयां के साथ एलोपैथी दवाइयां एवं अन्य सामग्री जप्त की थी। 
उसके बाद स्वास्थ्य केंद्र में पदस्थ मेडिकल ऑफिसर ने  ब्लॉक मेडिकल ऑफिसर के पत्र का हवाला देते हुए नानपुर थाने पर नितिन पटेल,देवजी पाटीदार,कार्तिक विश्वास,सुनील वाणी,प्रकाश मंडल सहित 18 फर्जी चिकित्सा व्यवसाय करने वाले की सूची सौंपते हुए इनके खिलाफ प्राथमिक प्रकरण दर्ज करने के पत्र लिखा था।
नहीं हुई कार्यवाही~~7 नवंबर 24 में थाने पर पत्र दिए जाने के बाद ना तो नानपुर थाने से आगे कोई कार्यवाही हुई और ना ही स्वास्थ विभाग के किसी जिम्मेदार ने  इस  संदर्भ में पहल की। स्वास्थ विभाग के जिम्मेदारों ने थाने पर इस संबंध में क्या कार्रवाई हो रही है, या कब तक होगी  जानकारी जानने की कोशिश ही नहीं की। सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार स्वास्थ विभाग के अधिकारी ने फिल्मी गाना की तर्ज  पर किया बोल दिया~ छोड़ो कल की बातें, कल की बात पुरानी नए दौर में लिखेंगे  फिर से नई कहानी। इससे सहज रूप से समझा जा सकता है कि स्वास्थ्य विभाग इन फर्जी चिकित्सा व्यवसाययों के खिलाफ किसी तरह की कार्रवाई करना नहीं चाहता है।
जप्त दवाइयों कहा ~~स्वास्थ्य अमले ने जब इन 18 फर्जी चिकित्सा व्यवसाय के यहां पर जांच पड़ताल की तो उन्हें बड़ी मात्रा में दवाइयां का जखीरा मिला। सूत्रों ने बताया कि हमले ने बड़ी मात्रा में दवाइयां को एक चार पहिया वाहन में भेजा था। उसके बाद आज तक उन दवाइयां का क्या हुआ कोई नहीं जानता। 
ये बोले जिम्मेदार~~हा ये सही हे। कार्यवाही कर  वरिष्ठ अधिकारियों को जानकारी दी गई थी। अब अगली कार्यवाही एसडीएम सा के निर्देशन पर जल्द करेंगे।
डॉ पटेल,बीएमओ

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