कांग्रेस नेता महेश पटेल का आरोप~
जिले के भ्रष्ट कर्मचारियों को बचा रहे हैं कलेक्टर
भोपाल के पत्र से भी नहीं जागा प्रशासन,
आलीराजपुर~~जिले में आदिवासी विकास विभाग एवं शिक्षा विभाग का बंटाधार हो रहा है जिम्मेदार पदों पर बैठे हुए सरकारी अफसर, कर्मचारियों की मिलीभगत से भ्रष्टाचार किया जा रहा है। जिले के जिला शिक्षा कार्यालय में पदस्थ एक अधिकारी की करतूत उजागर होने के बाद भी कलेक्टर की चुप्पी कई सवाल खड़े करती हैं।
उक्त आरोप जिला कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष महेश पटेल एवं जिला कांग्रेस अध्यक्ष ओमप्रकाश राठौर ने सोमवार को जारी एक प्रेस नोट के माध्यम से लगाए।
कांग्रेस नेता महेश पटेल ने प्रेस विज्ञप्ति के माध्यम से भोपाल के एक पत्र का हवाला देकर प्रशासन को कटघड़े में खड़ा किया है।
पटेल ने बताया कि संचालक लोक शिक्षण मध्य प्रदेश भोपाल के पत्र क्रमांक 1189 दिनांक 13 मई 24 के माध्यम से केके त्रिवेदी ने रामानुज शर्मा अध्यापक वर्तमान में भ्रष्ट एडीपीसी जिला शिक्षा कार्यालय को तत्काल हटाकर मूल संस्था में भेजने का उल्लेख किया था। इसके साथ ही उसके खिलाफ विभागीय जांच कर तथ्यात्मक प्रतिवेदन अभिमत उपलब्ध कराने के स्पष्ट निर्देश दिए गए थे। किंतु जुगाड़ू शर्मा ने अपने पद प्रभाव के माध्यम से पत्र को दबा दिया। इससे यह जाहिर होता है कि जिला शिक्षा कार्यालय में भ्रष्ट रामानुज शर्मा किस तरह से प्रभावी भूमिका निभा रहा है,जिसके चलते कलेक्टर भी मौन साधे हुए है।
कांग्रेस नेता पटेल ने आरोप लगाते हुए कहा की झूठी जानकारी के माध्यम से हाई कोर्ट से अपने स्थानांतरण पर स्टे लिया है। इसकी पूरी जानकारी कलेक्टर को भी है, लेकिन सारे घटनाक्रम पर चुप्पी साधे हुए हैं। पिछले तीन सालों से जिला शिक्षा कार्यालय के साथ ही लगभग 3 वर्ष तक बीआरसी सोंडवा प्रभारी अधिकारी के रूप में कार्य किया था। उसके बावजूद न्यायालय को अध्यापन कार्य कराने की झूठी जानकारी देना गंभीर अपराध की श्रेणी में आता है।
कांग्रेस नेता महेश पटेल ने कहा है कि भ्रष्टाचारी कर्मचारियों को बचाने का जो खेल जिला प्रशासन कर रहा है उसकी कांग्रेस पार्टी घोर निंदा करती हैं और मंगलवार को इस मामले में ज्ञापन धरना प्रदर्शनकरेगी।
कांग्रेस नेता पटेल ने जिला प्रशासन को चेतावनी देते हुए कहां की ऐसे भ्रष्ट कर्मचारियों को संरक्षण देना बंद करें और उसे वापस भूल संस्था में भेजें यह इसके खिलाफ हाईकोर्ट को झूठी जानकारी देने के खिलाफ प्रशासनिक एवं विभागीय विभागीय जांच कराते हुए तत्काल प्रभाव से निलंबित करें अन्यथा इस मामले में बाद उग्र आंदोलन किया जाएगा।

